कौन आया है यहां उम्र बिताने के लिए,
मैं तो आया हूँ यहां इश्क जताने के लिए
मुझे सफीने को अब, भंवर से यूं निकलनी नही,
मैं तो इस जहां में आया हूँ, तुम में डूब जाने के लिए
~ अंकुर सिंह
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ज़िन्दगी को पूरी तरह से जीने की कला, प्यार का गीत गुनगुनाता हैं हर कोई, दिल से जब निकलती हैं कविता… हर किसी की निगाहें मुझे क्यों……. ~ रंजना एक दोस्त ऐसा भी हो, मेरे हर एक दुख में मेरे साथ हो, हां एक दोस्त ऐसा भी हो, हां एक दोस्त ऐसा भी हो, हां एक दोस्त ऐसा भी हो, एक दोस्त ऐसा भी हो, ~ ऋचा गर्ग ख़ुदा करें हालात मेरे इस क़दर न हो ग़म है के आलम है मेरे जिंदगानी का बात कही जाए पर न जाए लबों से माना के राह-ए-इश्क़ में कांटें है गिरे मरीज़ हूं मैं दिल का, मरीज़ ही रहूं मैं जानता हूं उसका दिल तो है कांच का दुनिया से जुड़ा है रंज-ओ-गम का वास्ता इक उम्र गुज़ारी है मुहब्बत में ‘ज़ाफ़िर’ ~ Rohan Gangurde
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मैं आया हूँ तुम में डूब जाने के लिए
अपने दिल की बात सुनाओ ज़रा
हर दर्द की दवा
अधूरा जीवन ~ Heart Touching Deep Lines
भला किसे अच्छे से आती हैं……
कही ना कहीं ज़िन्दगी में,
हर किसी के कोई कमी तो रह जाती हैं….
दिल की आवाज़ों का तराना सुनाता हैं हर कोई,
आसमान पर बने इन रिश्तो को निभाता है हर कोई,
फिर भी हर चेहरे पर वो ख़ुशी क्यों नहीं नजर आती हैं…
पूरा प्यार पाने में कुछ तो कमी रह जाती हैं….
हर किसी की ज़िन्दगी में कही ना कही कुछ तो कमी रह जाती हैं….
पूरी ही नजर आती हैं ….
पर कागजों पर बिछते ही
वो क्यों अधूरी सी नजर आती हैं
शब्दों के जाल में भावनाएं उलझ सी जाती हैं
प्यार, किस्सें, कविता…ये सिर्फ दिल को ही तो बहलाती है
अपनी बात समझाने में तो कुछ तो कमी रह जाती हैं
किसी नयी चीज़ो को तलाशती नजर आती हैं
सब कुछ पा कर भी एक प्यास सी क्यों रह जाती हैं
ज़िन्दगी में कही ना कही कुछ तो कमी रह जाती हैं
सम्पूर्ण जीवन जीने की कला भला किसे आती है…..एक दोस्त ऐसा भी हो, जो सिर्फ मेरा हो
जो सिर्फ मेरा हो…
मैं रोऊ तो मुझे हँसाए,
मैं रूठू तो मुझे मनाए,
मेरी हर एक खुशी में मेरे साथ हो,
मेरे बिन बोले मेरी बात समझे,
मेरे बिन बोले मेरे दर्द को महसूस करें।
जो मेरी हंसी के पीछे छिपे दर्द को पहचान ले,
जो मेरे गिरने से पहले
मेरा हाथ थाम ले, मुझे संभाल ले।
जो जिंदगी की कठिन राह पर,
मेरा मार्गदर्शक बने।
जो दुनिया की भीड़ में,
मुझे तन्हा न छोड़े।
जो अंधेरे में मेरी रोशनी बने,
हां एक दोस्त ऐसा भी हो।
जिसका साथ पाकर मैं
हर गम भूल जाऊं,
जो मेरे साथ चले तो लगे,
जैसे कि मेरी ही परछाई।
जो मुझे खोने से डरे,
जिसे मेरी कमी महसूस हो,
जब मैं उसके साथ ना हूँ तो,
हां एक दोस्त ऐसा भी हो,
जो मुझसे कभी नाराज ना हो।
हां एक दोस्त ऐसा भी हो,
जो सिर्फ मेरा हो, सिर्फ मेरा।ख़ुदा करें हालात मेरे इस क़दर न हो
बात मैं करूं तो बात में असर न हो
ज़ख़्म आए मुझे पर उसे ख़बर न हो
है यक़ीं के पता उसे कुछ मगर न हो
नसीब मुझे ऐ ख़ुदा ऐसी डगर न हो
इलाज के लिए ही कोई चारागर न हो
तोड़ना चाहूं तो हाथ में पत्थर न हो
इस दुनिया में दूर तक मेरी नज़र न हो
मुश्किलें रहें पर इश्क़ का सफ़र न होहिस्सों में बट चुका है किरदार मेरा
क्या क्या सितम
Maa ke pyar ki thapki
ज़िन्दगी की कदर करो