2 कुछ जख़्म कभी नहीं भरते Posted on July 1, 2017 by techi कुछ लम्हे कभी नहीं गुज़रते कुछ रातें कभी नहीं कटती कुछ एहसास कभी नहीं मरते कुछ दरारें कभी नहीं भरती कुछ वादे कभी नहीं मुकरते कुछ उम्रे कभी नहीं घटती कुछ जख़्म कभी नहीं भरते कुछ यादें कभी नहीं मिटती Share This Related posts: Tanhai ka aalam Sad Poetry अब दिल को दर्द भी नहीं होता इतनी भी समझदारी अच्छी नहीं जिस्म नहीं रूह को चाहा हैं अब जीने में वो बचपन वाली बात नहीं शेर पर कविता | शेर घायल है मगर दहाड़ना नहीं भूला तेरी यादें कभी मिट नहीं सकी | I Miss You
Very nice love you
mast